मूक पशु की बचाई जान- तहसीलदार की संवेदन शीलता
दमोह -जीव दया से बड़ा कोई धर्म नही है,यही सच्ची मानव सेवा है,आज ऐसा ही वाकया देखने मिला जब भीड़ भाड़ के दौरान बजरिया वार्ड नंबर 01 दमोह में एक कुत्ते के ऊपर से एक वाहन गुजर जाने से कुत्ते के गले की हड्डी टूट गई एवम वह मरणासन्न अवस्था में पहुंच गया।कुछ लोगो ने इसकी जानकारी तहसीलदार मोहित जैन को दी ,तहसीलदार जैन ने उस मूक पशु के प्रति अपनी संवेदन शीलता का परिचय देते हुए 1962 कॉल सेंटर पर कॉल किया तो कॉल सेंटर वालो ने बताया की आने में 02 बज जाएगा अभी हम लोग बाहर आए है,उसके बाद श्री जैन ने पटवारी अभिनंदन जैन से किसी एनजीओ से संपर्क करने को कहा,एनजीओ उपलब्ध न होने पर विटनरी को कॉल कर डॉक्टर को बुलाकर कुत्ते को इंजेक्शन आदि लगवाए।
इसके बाद नगरपालिका की गाड़ी बुलवाकर कुत्ते को पशु अस्पलाल भिजवाया एवम विटनेरी डॉक्टर को फोन कर आवश्यक चिकित्सा करने हेतु निर्देशित किया ।त्योहारों की इतनी व्यवस्तता के बाबजूद प्रशासन की ऐसी संवेदन शीलता कम ही अधिकारियों में देखने मिलती है।